विधायक मुन्ना सिंह चौहान ने परीक्षा निरस्तगी को छात्रों की शंकाओं का निवारण करने वाला बताया….

देहरादून । विधायक और भाजपा के वरिष्ठ नेता मुन्ना सिंह चौहान ने परीक्षा निरस्तगी पर संतुष्टि जताते हुए इसे सभी छात्रों की शंकाओं का निवारण करने वाला बताया। उन्होंने विपक्ष के बयानों पर भी पलटवार कर कहा, परीक्षा के सभी संदेह मुख्यमंत्री ने दूर किए, लिहाजा कांग्रेस की इस मुद्दे पर भ्रम और झूठ की राजनीति सफल नहीं होने वाली। अपनी प्रतिक्रिया में उन्होंने, सरकार के इस निर्णय को उन्होंने छात्रों की भावनाओं और परीक्षा के प्रति विश्वास कायम रखने वाला बताया। उन्होंने कहा, परीक्षा देने वाले सभी छात्र हमारे अपने हैं और हम नहीं चाहते कि एक भी छात्र के मन में संदेह रहे। इसी शंका को दूर करने के लिए सरकार द्वारा एसआईटी जांच के बावजूद सीबीआई जांच की घोषणा की गई थी और आज संपूर्ण परीक्षा को ही निरस्त किया गया। यह दोनों निर्णय पुनः साबित करते हैं कि प्रदेश के युवाओं का सुरक्षित भविष्य हमारे लिए दलगत राजनीति से बहुत ऊपर है।
उन्होंने इस पूरे मुद्दे पर सामने आ रही विपक्ष की टिप्पणियों पर पलटवार करते हुए कहा कि इनकी सरकारों ने ही राज्य की भर्ती प्रक्रिया में भ्रष्टाचार की बेल को पनपाने का काम किया था। कांग्रेस सरकारों में पटवारी भर्ती घोटाला, दरोगा भर्ती घोटाला आदि नियुक्तियां में की गई गड़बड़ियां राज्य की पहचान बनती जा रही थी। युवाओं का सरकारी भर्ती परीक्षाओं से विश्वास उठता जा रहा था। लेकिन धामी सरकार ने नकल माफियाओं पर कठोर कार्रवाई की और देश का सबसे कड़ा नकल निरोधक कानून लागू किया। परिणाम सामने आया कि राज्य निर्माण से अब तक की सबसे अधिक नियुक्तियां युवाओं को दी गई। यह सही है कि नकल की एक घटना ने छात्रों की मन में शंका स्थापित की है। उसके भी निवारण के लिए पूरी गंभीरता से हमारी सरकार कार्रवाई कर रही है।जिन्होंने राज्य में भ्रष्टाचार को शिष्टाचार बनाने का पाप किया, अब वही कांग्रेस परीक्षा प्रक्रिया पर भ्रम फैलाने का ढोल पीट रही है। प्रदेश की जनता बहुत समझदार है और कांग्रेस नेताओं की ऐसी काल गुजारियों को अच्छी तरह पहचानती है। उनमें परीक्षा को लेकर कुछ संशय अवश्य बना होगा, जिसे मुख्यमंत्री धामी ने अपने साहसिक निर्णयों से अब पूरी तरह दूर कर दिया है।